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Funny Shayari - मजाकिया शायरी


​मेरे दोस्त तुम भी लिखा करो शायरी;​
तुम्हारा भी मेरी तरह नाम हो जाएगा;​
जब तुम पर भी पड़ेंगे अंडे और टमाटर;​​
​तो शाम की सब्जी का इंतज़ाम हो जाएगा।

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जा कर अब कह दो समुंदर से,

मुझे जरुरत नही उन लहरों की...

बस एक बीवी ही काफी है,

ज़िन्दगी में तूफ़ान लाने के लिए

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सुबह का अपना मजा हैं शाम का अपना मजा,
जूस का अपना मजा हैं जाम का अपना मजा,
एक के साथ एक मुफ्त है आजकल हर आईटम,
मुफ्त का अपना मजा है दाम का अपना मजा,
आशिकी मे उसके भाईयों से कल मैं फिर पिटा
दर्द का अपना मजा है बाम का अपना मजा

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ज़िन्दगी में तूफ़ान लाने के लिए
बेपर्दा हम सरेआम हो गए,
तेरे ईश्क़ में जालिम बदनाम हो गए |
सम्मोहन विद्या तूने ऐसी चलाई,
दो पल में हम तेरे गुलाम हो गए |
छोड़ दिया खाना जब याद में तेरे,
दो हफ्तों में ही चूसे हुए आम हो गए |
चुराया था तूने जबसे चैन को मेरे,
रात सजा और दिन मेरे हराम हो गए |
जुदाई तेरी मुझसे जब सही न गई,
खाली कितने जाम के जाम हो गए |
गम में तेरे कुछ इस कदर रोया,
हृदय के भीतर कोहराम हो गए |
सोचता रहा मैं दिन-रात ही तुझे,
खो दिया सबकुछ, बेकाम हो गए |
समझा था मैंने, तुझे सारे तीरथ,
सोचा था तुम ही मेरे धाम हो गए |
पता नहीं क्या-क्या सपने सँजो लिए,
फोकट में ही इतने ताम-झाम हो गए |
चक्कर में तेरे जिस दिन से पड़ा,
उल्टे-पुल्टे मेरे सारे काम हो गए |
फेसबुक में देखा तो हूर थी लगी,
मिला तो अरमाँ मेरे धड़ाम हो गए |
कस जो लिया तूने बाहों में अपने,
लगने लगा जैसे राम नाम हो गए |
एक बार तो मुझको ऐसा भी लगा,
चाहतों के मेरे क्या अंजाम हो गए |
टॉप-अप जो तेरा बार-बार करवाया,
कपड़े तक भी मेरे नीलाम हो गए |
चाहकर तुझको शायद पाप कर लिया,
नरक में जाने के इंतजाम हो गए |
चबाया है तूने ऐसे प्यार को मेरे,
प्यार न हुआ, काजू-बादाम हो गए |
आंसुओं से तूने कुछ ऐसे भिगाया,
बार बार मुझको जुकाम हो गए |
घेरे से छुटकर अब लगता है ऐसे,
आम के आम, गुठलियों के दाम हो गए |
बेपर्दा तो अब हम सरेआम हो गए,
तेरे ईश्क़ में जालिम बदनाम हो गए |



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तुम अपने हो ,इसलिये कबूल कर लिया,
वरना लफड़ा.. मुहब्बत का ..तौबा तौबा...!!!

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हर रोज Update कर रहा हूँ मैं अपना दिल,

पर ना जाने क्यूँ तेरे बिना Error बता रहा है.

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इश्क "गर्म चाय" है..
और .. दिल "पारलेजी बिस्किट"
हद से .. ज्यादा डूबोगे .. तो टूटोगे ..

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वो तेरा chat मेने आज भी अपने मोबाइल में backup करके रखा है...
जिसमे तूने मजाक में कहा था "में तुझसे प्यार करती हूँ

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उम्र की राह में जज्बात बदल जाते है।
वक़्त की आंधी में हालात बदल जाते है
सोचता हूं काम कर-कर के रिकॉर्ड तोड़ दूं।
कमबख्त सैलरी देख के ख्यालात बदल जाते हैं

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प्लम्बर कितना ही एक्सपर्ट क्यूँ न हो
पर....
वो आँखों से बहता..... पानी बंद नहीं कर सकता..।

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अरे पगली मैं तो तुझे तब से चाहता हुं...
जब से तू
स्कूल में दों चोटीयाँ बांध कर
आती थी...!!

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प्यार उस नेक बंदे से करो...
जो
तुम्हारी लिपस्टिक खराब करे काजल नही

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वो किसी Vacancy की तरह निकलती है,
.
मैं जनरल वालों की तरह देखता रह जाता हूँ...!!

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जब भी कोई दोस्त पूँछता है हमसें भाभी कैसी है,
.
दिल की धड़कनें रुक जाती हैं और जुबान पे एक ही सवाल आता है, कौनसी..

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वो बोली मैं तुझसे दूर जा रही हूँ,
दूर...
बहुत दूर,
हम भी बड़े रहम दिल हैं
100 का
नोट दे के बोल दिया
-ले रास्ते मेँ कुछ खा लेना

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गोग्गल लगा के आँख पर चलने लगे हसीं

वो लुत्फ़ अब कहाँ निगह-ए-नीम-बाज़ का
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इस मर्तबा भी आए हैं नंबर तेरे तो कम

रुस्वाइयों का क्या मेरे दफ़्तर बनेगा तू

बेटे के मुँह पे दे के चपत बाप ने कहा

फिर फ़ेल हो गया है मिनिस्टर बनेगा तू





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इल्म में झींगुर से बढ़ कर कामराँ कोई नहीं

चाट जाता है किताबें इम्तिहाँ कोई नहीं

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इस क़दर था खटमलों का चारपाई में हुजूम

वस्ल का दिल से मेरे अरमान रुख़्सत हो गया

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आशिक़ी का हो बुरा उस ने बिगाड़े सारे काम

हम तो ए बी में रहे और यार बी0ए0 हो गए

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जब ग़म हुआ चढ़ा लीं दो बोतलें इकट्ठी

मुल्ला की दौड़ मस्जिद अकबर की दौड़ भट्टी

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कोई पत्थर से ना मारे मेरे दीवाने को...

कोई पत्थर से ना मारे मेरे दीवाने को...

न्यूक्लियर पावर का जमाना है, बॉम्ब से उड़ा दो साले को...

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दरख़्त के पैमाने पे चिलमन ए हुस्न का फुरकत से शरमाना...

ये लाइन समझ मे आए तो मुझे ज़रूर बताना!!

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तेरे दर पे सनम हज़ार बार आएँगे,

तेरे दर पे सनम हज़ार बार आएँगे.....

घंटी बजाएँगे और भाग जाएँगे !!

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जिस वक़्त खुदा ने तुम्हे बनाया होगा, एक सरूर सा उसके दिल पे छाया होगा...

पहले सोचा होगा तुझे जन्नत में

रख लूँ...

फिर उससे ज़ू का ख़याल आया होगा!!!

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मेरे मरने के बाद मेरे दोस्तों,

यू आँसू ना बहाना,

अगर मेरी याद आए,

तो सीधे उपर चले आना!!
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उनकी गली से गुज़रे..अजीब इत्तेफ़ाक़ था

उनकी गली से गुज़रे..अजीब इत्तेफ़ाक़ था

उन्हो ने फूल फेंका..गमला भी साथ था!!

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सुना है तुम्हारी निगाह से लोग कत्ल होते हैं 
ज़रा इक नज़र मेरी बीवी को भी देखो , वो मुझे अच्छी नहीं लगती

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ढूंढ रहा है वो मुझ से खफा होने का तरीका 
सोचती हूँ थप्पड़ मार कर उसकी मुश्किल आसान कर दूँ 

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मैं आज भी गर्मी से मर रहा हूँ, उस ने एक बार कहा था 
जैकेट में बहुत खूब लगते हो

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नाराज़ क्यों होते हो चले जाते हैं तेरी महफ़िल से \
अपने हिस्से के दो समोसे तो उठा लेने दो ..

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मुझे आज कह रहे हैं गम मेरे
अगर घर में पंखा है तो रस्सी भी होगी


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मैं तो तेरे इश्क मे जीवन भर इंतजार कर लूँगा ।
जब तुम ना आओगे तो किसी और से प्यार कर लूँगा ।

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नादान हैं वो जो किसी को मिस किया करते हैं।
अजी मिस करना है तो उस मच्छर को करें।
जो मरते दम तक किस दिया करते हैं।

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कभी हिम्मत भी जुटा लीजिये, दर्द में भी मुस्कुरा लीजिये
खुजलाने से गर खुजली न जाए,तो थोड़ा सा
नहा लीजिये।

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लैला ,मजनू ने प्यार किया दोनों की किस्मत
जाग गई ।
मजनू गया तेल लेने, लैला बनिया के साथ भाग
गई।

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गजब के हैं आप, गजब आपकी स्टाइल है।
पढना तो आता नहीं, और हाथ मे मोबाइल है

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हम तो आखों से बात करते हैं, आखों से मुलाकात
करते हैं।
तकलीफ तो तब होती हैं, जब आप इंग्लिश मे
बात करते हैं।

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दिल की तमन्ना है की तुझे पलकों पर बिठा'ऊँ
पर तू बहत्तर किलो की है दिल को कैसे समझाऊँ

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ऐ सर्द सर्द रात मुझे बीवी चाहिए
करनी है दिल की बात मुझे बीवी चाहिए
उलझी हुई फ़िराक़ की रातों के दरमियाँ
तनहा है मेरी जात मुझे “बीवी ” चाहिए
बचपन की ज़िद नहीं जवानी की बात है
ऐ मेरे नासमझ बाप मुझे बीवी चाहिए
चेहरे से बेरुखी का नक़ाब उतार दो
अब मान जाओ मेरी बात मुझे बीवी चाहिए
देखी है मैंने दुल्हन मुझे बारात ले के जाना है
कर दी है मैंने अपने मन की बात मुझे बीवी चाहिए

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दिल से दिल लगा कर भी देख
मेरी याद में आँसू बहाकर भी देख ,
SMS क्या CALL भी करेंगे ,
एक बार मेरे मोबाइल का बिल चुका कर तो देख

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हफ़्तों के बाद नहाये लगते हो
आज कुछ शर्माए से लगते हो
सर्दी के कारण कंपकंपाये से लगते हो
चेहरा आपका खिल उठा है
लगता है हफ़्तों के बाद नहाये लगते हो

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क्या मौसम आया है
हर तरफ पानी ही पानी लाया है
एक जादू सा छाया है
तुम घर से बाहर मत निकलना
वरना लोग कहेंगे बरसात हुई नहीं
और मेंढक निकल आया है

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Girl Friend बनाने से डरते है
हम आज भी दिल का आशियाना सजाने से डरते है
बागों में फूल खिलाने से डरते है
हमारी एक पसंद से टूट जाएंगे हज़ारो दिल
इसलिए हम आज भी Girl Friend बनाने से डरते है

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शायद आज नहा के आई है
जुल्फों में फूलो को सजा के आई है
चेहरे से नक़ाब उठा के आई है
किसी ने पूछा आज बड़ी खूबसूरत लग रही हो
मैंने कहा शायद आज नहा के आई है

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कर न सके इज़हारे मुहब्बत यह हमारी खता थी
हमें तो बीवी ने पकड़ कर रखा था तू अपनी सुना

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मुहब्बत करने वालों का यही अंजाम होता है
कभी नज़ला कभी बुखार कभी ज़ुकाम होता है

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उस से माँगा था फ़क़त , कुछ वक़्त मैंने
वो नादाँ दे गया एक घडी मुझ को तोहफे में

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बर्बाद करना था तो किसी और तरीके से कर लेती
यूँ बच्चों से “मामू” कहलवाना ज़रूरी था क्या

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यह जो चप्पल मैं पहन कर आया हूँ
मत समझो के इसे चुरा कर लाया हूँ
यह सब खुदा की देंन है मेरे दोस्त
उसी के घर से उठा के लाया हूँ

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तेरे वादे अगर सच्चे होते
तो आज हमारे भी अपने दो बच्चे होते

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एक लड़की थी दीवानी सी
मोबाइल लेकर चलती थी
नज़रें झुका के , शर्मा के
मोबाइल में जाने क्या देखा करती थी
कुछ कहना था शायद उसको
पर जाने किस से डरती थी
जब भी मिलती थी मुझसे
यही पूछा करती थी
यह ON कैसे होता है
यह ON कैसे होता है
और मैं सिर्फ यही कहता था
अबे ये मोबाइल नहीं TV का रिमोट है

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हवाएँ कहती हैं दोस्ती करो
फ़िज़ाएं कहती हैं प्यार करो
बहारें कहती हैं शादी करो
और घर वाले कहतें हैं
बकवास बंद करो और
दिल लगा के काम करो

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